सोमवार, 27 दिसंबर 2010

किया है इस तरह से तुझसे हमने प्यार............




किया है इस तरह से तुझसे हमने प्यार बहोत!
तेरे आने का भी हमने किया इंतज़ार बहोत!!

प्यार तो प्यार है, क्या लेना और क्या देना!
लेकिन हिसाब उसमें भी तू ने किया बहोत!!

हमतो समझे थे तेरे प्यार की है ये सौगात!
जताया तूने है हमपे किया एहसान बहोत!!

बीते ज़माने,हम न समझ पाए हैं तुझे!
देखा तुझे भी हमने है परेशान बहोत!!

जिंदगी बीतनी है यूं भी बीत जाएगी ! 
किसी के साथ का करो न इंतज़ार बहोत!! 

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